तेल, ऊर्जा क्षेत्र में आपसी सहयोग बढ़ाएंगे भारत, अमेरिका
पूर्वी एशिया शिखर सम्मेलन के मौके पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी तथा अमेरिका के उपराष्ट्रपति माइक पेंस के बीच अलग से बैठक हुई जिसमें भारत और अमेरिका ने आपसी आर्थिक सहयोग और बढ़ाने की प्रतिबद्धता जताई। इसके साथ ही दोनों देश तेल-गैस क्षेत्र में भी आपसी सहयोग का विस्तार करेंगे। विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता रवीश कुमार ने कहा कि दोनों नेताओं के बीच वैश्विक रणनीतिक भागीदारी से संबंधित सभी पहलुओं पर रचनात्मक विचार विमर्श हुआ।
संवाददाताओं से बातचीत में विदेश सचिव विजय गोखले ने कहा कि यह बैठक काफी अच्छी रही। दोनों पक्षों के बीच व्यापार संबंधित मामलों पर संक्षिप्त विचार विमर्श हुआ। पेंस के कार्यालय ने कहा कि उन्होंने भारत के साथ मुक्त और निष्पक्ष पारस्परिक व्यापार व्यवस्था को प्रोत्साहन देने का भरोसा दिया। गोखले ने कहा कि हमारे बीच इस बात की सहमति बनी है कि हम अमेरिका से जो नए संबंध बना रहे हैं उसमें व्यापार का विस्तार हो रहा है। गोखले ने बताया कि प्रधानमंत्री ने कहा कि डोनाल्ड ट्रंप के पद संभालने के बाद पिछले दो साल में भारत को अमेरिकी निर्यात 50 प्रतिशत बढ़ा है। संभवत: भारत उन शीर्ष 10 देशों में से जिनके साथ अमेरिका का व्यापार घाटा है। वास्तव में पिछले साल व्यापार घाटा कम हुआ है और इस साल इसमें और कमी आएगी।
उन्होंने कहा कि ऊर्जा क्षेत्र पर काफी चर्चा हुई। भारत अमेरिका रिश्तों में यह नया क्षेत्र है। हमने इस साल अमेरिका से चार अरब डॉलर मूल्य के तेल एवं गैस का आयात शुरू किया है। आपसी व्यापार बढ़ाने के लिए हम अमेरिका से और तेल एवं गैस का आयात करने को तैयार हैं। दोनों देशों के बीच सहयोग का एक अन्य क्षेत्र रक्षा है। गोखले ने कहा कि दोनों पक्षों के रक्षा संबंधों में उल्लेखनीय विस्तार हुआ है। अमेरिका से उपकरणों का आयात बढ़ा है।