बुलंदशहर हिंसा : 'मुड़कर देखा तो इंस्पेक्टर को घसीटकर ले जा रही थी भीड़'

बुलंदशहर
यूपी के बुलंदशहर के स्याना कोतवाली क्षेत्र में कथित रूप से गोवंश के अवशेष मिलने के बाद बीते सोमवार को हुई हिंसा को यादकर मौके पर मौजूद पुलिसकर्मी सिहर उठते हैं। ये पुलिसकर्मी हिंसक भीड़ के हाथों मारे गए इंस्पेक्टर सुबोध कुमार के साथ कार्रवाई करने पहुंचे थे। साथी पुलिसकर्मियों का कहना है कि जब भीड़ इंस्पेक्टर को घेरकर पीट रही थी, बाकी लोग अपनी-अपनी जान बचाने के लिए इधर-उधर भाग रहे थे। एसएसपी केबी सिंह ने बताया कि अगर अन्य पुलिसकर्मी भी भीड़ के हाथों लग जाते तो उनके साथ भी बुरा हो सकता था।
उधर शुक्रवार देर रात स्याना के डीएसपी सत्य प्रकाश शर्मा और चिंगरावटी के चौकी प्रभारी सुरेश कुमार को सीएम के आदेश पर हटा दिया गया। इन पर पथराव के दौरान इंस्पेक्टर सुबोध को छोड़कर भागने का आरोप है। बुलंदशहर हिंसा की जांच कर रही पुलिस ने अब इस मामले से जुड़े आरोपियों की धर-पकड़ शुरू कर दी है।
हिंसा की घटना के बाद सामने आई विडियो फुटेज में से पहचान करते हुए एसआईटी ने शुक्रवार को पांच लोगों को गिरफ्तार किया है। शुक्रवार शाम इस बारे में जानकारी देते हुए यूपी पुलिस के आईजी क्राइम एस के भगत ने बताया कि इस मामले में अब तक कुल 9 लोगों को गिरफ्तार किया गया है। हिंसा की घटना के बाद सामने आई विडियो फुटेज के आधार पर शनिवार को 5 लोगों को गिरफ्तार किया गया है।
'पुलिस के समझाने का नहीं पड़ रहा था कोई असर'
हेड कॉन्स्टेबल वीरेंद्र का कहना है कि जब वह सुबोध कुमार के साथ मौके पर पहुंचे तो भीड़ पुलिस प्रशासन के खिलाफ नारेबाजी कर रही थी। इंस्पेक्टर ने भीड़ को हैंडहेल्ड स्पीकर से समझाने की कोशिश की। पुलिस लोगों की हर मांग मानने का आश्वासन देती रही। कुछ लोग गंदी गालियां देते रहे और भीड़ को उकसाते रहे। थोड़ी देर बाद ही पुलिस की टीम पर पथराव शुरू कर दिया गया। इसके बाद भी पुलिस मौके पर डटी रही। उस समय का मंजर काफी खौफनाक था। लोग पुलिस की एक भी बात मानने को तैयार नहीं थे।
इस बीच उपद्रवी पेड़ काटने लगे तो इंस्पेक्टर सुबोध ने उन्हें ऐसा करने से मना किया। इस बीच इंस्पेक्टर के ऊपर धारदार हथियार से हमला हुआ, जिससे उनका एक अंगूठा चोटिल हो गया। वह लहूलुहान हो गए। उसके बाद भी लोगों ने उनकी एक नहीं सुनी। भीड़ का पथराव जारी रहा। इस पर बाकी पुलिसकर्मी जान बचाने के लिए भागने लगे। जब हम 100 मीटर दूर पहुंचे और पीछे मुड़कर देखा तो भीड़ ने इंस्पेक्टर को दबोच रखा था और उन्हें घसीटकर खेत की ओर ले जा रहे थे। कुछ लोग उन्हें लाठीडंडों से पीट रहे थे और गाली-गलौज के साथ मारो-मारो की आवाज सुनाई दे रही थी।
पहली बार ऐसा खौफनाक मंजर देखा : रामआसरे
टीम के साथ मौजूद चालक रामआसरे ने बताया कि ऐसा खौफनाक मंजर जिंदगी में पहली बार देखा। जिस समय हम इंस्पेक्टर के साथ चिंगरावटी पुलिस चौकी से आगे की ओर पहुंचे, वहां काफी लोग ट्रैक्टर-ट्रॉली से आते दिखे। उनके साथ पैदल भी काफी संख्या में लोग आ रहे थे। लोगों को काफी समझाया गया, लेकिन वे मानने को तैयार नहीं थे। इस बीच भीड़ की ओर से फेंके गए एक-दो पत्थर पुलिस की टीम को लगी। पत्थरबाजी की परवाह किए बगैर पुलिसकर्मी लोगों को समझाते रहे, लेकिन कोई फर्क नहीं दिखा।