ग्वालियर एमपी एमएलए कोर्ट ने लालू यादव के खिलाफ जारी किया स्थायी गिरफ्तारी वारंट
ग्वालियर, विवाद और राजनीति का रिश्ता किसी से छुपा नहीं है, और यह सच है कि कोई भी महत्वपूर्ण राजनेता अपने करियर में विवाद से बच नहीं सका है। यह विवाद राजनेताओं की छवि पर असर डालते हैं। हाल ही में, एक ऐसा मामला ग्वालियर, मध्य प्रदेश, के एमपी एमएलए कोर्ट में सामने आया है, जहां 34 साल पुराने एक केस में बिहार के पूर्व मुख्यमंत्री लालू प्रसाद यादव के खिलाफ स्थायी गिरफ्तारी वारंट जारी किया गया है। मामला हथियारों की अवैध खरीद-फरोख्त से जुड़ा है और करीब 26 साल से लंबित है।
23 अगस्त 1995 से 15 मई 1997 के बीच का है मामला
इस मामले में 1998 में ग्वालियर की अदालत ने लालू प्रसाद यादव को फरार घोषित किया था। यूपी की फर्म के संचालक राजकुमार शर्मा पर आरोप है कि उसने ग्वालियर के हथियारों की तीन कंपनियों से फर्जीवाड़ा कर 1995 से 1997 के बीच हथियार और कारतूस खरीदे थे। शर्मा ने हथियार और कारतूस बिहार में बेचे थे। जिनको हथियार बेचे थे, उनमें लालू प्रसाद यादव का नाम भी है। ये मामला 23 अगस्त 1995 से 15 मई 1997 के बीच का है। मामले में कुल 22 आरोपी हैं। 6 के खिलाफ सुनवाई चल रही है। आरोपियों में से दो की मौत हो चुकी है। वहीं लालू प्रसाद यादव समेत 14 फरार हैं।
तय नहीं हो पा रहा था कि आरोपी कौन
मामले में लालू प्रसाद यादव ही आरोपी हैं, लेकिन तय नहीं हो पा रहा था कि आरोपी राजद नेता और बिहार के पूर्व मुख्यमंत्री हैं या नहीं, भ्रम की स्थिति बनी हुई थी। अदालत के रिकॉर्ड से इसकी पुष्टि नहीं हो रही थी। दस्तावेजों के अनुसार आरोपी लालू प्रसाद के पिता का नाम कुंद्रिका सिंह है। वहीं, राजद नेता लालू प्रसाद के पिता का नाम कुंदन राय है। लालू प्रसाद के पिता का नाम सिर्फ फरारी पंचनामे में लिखा है। पुलिस ने कोर्ट में जो चालान और फरार आरोपियों की सूची पेश की है, उनमें पिता का नाम नहीं लिखा था। शेष आरोपियों के पिता के नाम के साथ शहर तक का उल्लेख था। पूर्व सांसद और बिहार के पूर्व मुख्यमंत्री लालू प्रसाद यादव का जिक्र होने से यह केस एमपी-एमएलए कोर्ट में गया है।
पुलिस ने अपने अनुसंधान के बाद ही लालू प्रसाद यादव को आरोपी बनाया
पुलिस का दावा है कि आरोपी लालू प्रसाद यादव कोई और नहीं बल्कि राजद नेता ही हैं। इसी आधार पर उन्हें आरोपी बनाया और गिरफ्तारी वारंट जारी किया है। पुलिस ने अपने अनुसंधान के बाद ही लालू प्रसाद यादव को आरोपी बनाया है। यह केस अन्य कोर्ट से एमपी-एमएलए कोर्ट को ट्रांसफर हुआ था। कोर्ट ने अब स्थायी गिरफ्तारी वारंट जारी कर बिहार के पूर्व मुख्यमंत्री लालू प्रसाद यादव को कोर्ट ने तलब किया है।