प्रवासी राजस्थानी दिवस’ 2025 में सस्टेनेबल वाटर इंफ्रास्ट्रक्चर पर सत्र- राजस्थान की जल सुरक्षा को मजबूत करने के लिए व्यावहारिक और टेक्नोलॉजी-आधारित समाधानों पर हुई चर्चा
जयपुर। ‘प्रवासी राजस्थानी दिवस’ 2025 मे जेईसीसी, जयपुर में “राजस्थान में सस्टेनेबल वाटर इंफ्रास्ट्रक्चर का विकासरू एक जिम्मेदारी और एक अवसर” विषय पर सत्र आयोजित किया गया। इस सत्र में राजस्थान की जल सुरक्षा को मजबूत करने के लिए व्यावहारिक, बड़े पैमाने पर लागू होने वाले और टेक्नोलॉजी-आधारित समाधानों पर चर्चा करने के लिए प्रमुख विशेषज्ञ और इंडस्ट्री के इनोवेटर एक साथ आए।
इस अवसर पर मुख्यमंत्री भजन लाल शर्मा ने कहा कि पिछले दो सालों में, हमारी सरकार प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में पानी को प्राथमिकता देते हुए अलग-अलग प्रोजेक्ट्स पर काम कर रही है। हमने राजस्थान के लिए एक विस्तृत योजना तैयार की है ताकि सिंचाई, उद्योग, पशुधन और घरेलू पानी की जरूरतें पूरी हो सकें।
केंद्रीय कृषि और किसान कल्याण राज्य मंत्री भागीरथ चौधरी ने कहा कि ईस्टर्न राजस्थान कैनाल प्रोजेक्ट जैसी बड़ी परियोजनाएं और पानी बचाने के पारंपरिक तरीकों का इस्तेमाल राजस्थान को एक हरा-भरा और ज्यादा सस्टेनेबल राज्य बना रहा है।
कृषि एवं ग्रामीण विकास मंत्री किरोड़ी लाल मीणा ने कहा कि आर.आर.आर. सिद्धांत ‘रियूज, रिड्यूस और रीसायकल’ में राजस्थान में बहुत ज्यादा संभावना है। इस सिद्धांत को व्यवहार में लाने के लिए हमें प्रवासी राजस्थानियों के समर्थन की जरूरत है। उन्होंने कहा कि आपके सहयोग से, हम इस तरीके का इस्तेमाल करके पूरे राजस्थान में कृषि के क्षेत्र में एक बड़ा बदलाव ला सकते हैं।
जल संसाधन मंत्री सुरेश सिंह रावत ने कहा कि पानी बचाना राजस्थान के लोगों की एक पुरानी परंपरा रही है। उन्होंने बजट में वाटर ग्रिड की घोषणा के लिए मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा को धन्यवाद भी दिया।
जन स्वास्थ्य अभियांत्रिकी विभाग मंत्री कन्हैया लाल ने कहा कि प्रवासन बढ़ने का कारण राजस्थान में पानी की कमी थी। हालांकि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा के नेतृत्व में राजस्थान बदल रहा है और पूरे राज्य में पानी की उपलब्धता सुनिश्चित करने के लिए बड़ी प्रगति की जा रही है।
इस सत्र मे अतिरिक्त मुख्य सचिव जल संसाधन अभय कुमार, संयुक्त सचिव, पीएचईडी और मिशन निदेशक जल जीवन मिशन डॉ. रवींद्र गोस्वामी, पूर्व अध्यक्ष, सीआईआई राजस्थान और सीईओ हिंदुस्तान जिंक लिमिटेड अरुण मिश्रा, इंद्रनील दत्त सहित कई विषय विशेषज्ञ एवं गणमान्य जन शामिल हुए।
विशेषज्ञों ने राजस्थान के लिए एक प्रगतिशील और सहयोगी विजन बनाने की जरूरत पर जोर दिया, जो जिम्मेदारी को अवसर में बदले और आने वाली पीढ़ियों के लिए राज्य के जल इंफ्रास्ट्रक्चर को मजबूत करे। चर्चाओं में टिकाऊ जल इंफ्रास्ट्रक्चर के विकास, सुधार और प्रभावी जल संसाधन प्रबंधन पर ध्यान केंद्रित किया गया।

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