भोपाल, चौका लगाने की तैयारी में जुटी टीम शिवराज ने पुराने मोहरो के दम पर चुनावी समर में उतरने कमर कस ली है। दिल्ली से मिले फ्री हैंड के बाद 80 फीसदी विधायको और मंत्रियों के नामो पर मुहर लगा दी गई है। पार्टी सूत्रों के अनुसार केंद्रीय चुनाव समिति की मुहर लगने के बाद 1 नवम्बर को देर रात पहली सूची जारी की जा सकती है।

विधानसभा चुनाव में टिकट को लेकर मचे घमासान और कांग्रेस से मिल रही कड़ी चुनौती को देखते हुए भाजपा ने रणनीति बदल दी है। पार्टी सूत्रों के अनुसार पार्टी ने कम से कम आंतरिक विरोध के साथ चुनाव में उतारने का मन बना लिया है। यही वजह है एक बार पुनः पुराने मोहरो पर ही दांव लगाया जा रहा है। लम्बी मशक्कत के बाद प्रदेश चुनाव कमेटी ने जहां 50 फीसदी नामो को सर्वसम्मति से तय कर लिया वही बाकी नामो पर 2 से 3 नामो का पैनल बना दिया गया है। मुख्यमंत्री शिवराज सिंह और प्रदेश अध्यक्ष राकेश सिंह ने राष्ट्रीय अध्यक्ष अमित शाह और प्रदेश प्रभारी धर्मेंद्र प्रधान से लम्बे विचार विमर्श किया और प्रदेश संगठन की राय से अवगत कराया।
सूत्रों ने बताया कि संगठन का प्रयास है कि प्रदेश के स्थापना दिवस के अवसर पर पहली सूची जारी कर दी जाए। यही वजह है कि आज शाम केंद्रीय चुनाव कमेटी की बैठक में पहली सूची पर अंतिम मुहर लगा दी जाएगी।संभावना की देर रात तक लगभग 130 विधानसभा सीट पर प्रत्याशियों की पहली सूची को जारी कर दिया जाएगा।
सूत्रों के अनुसार विधायको की भांति मंत्रियों की टिकट काटने और उनके क्षेत्रो को बदलने के मामले पर मुख्यमंत्री और प्रदेश अध्यक्ष में कदम वापस खींच लिए हैं। 2 या 3 मंत्रियो को छोड़ सभी को उनकी पारम्परिक सीट से ही उतारा जाएगा। इसी क्रम के पार्टी द्वारा इस बार आधा दर्जन सांसदों को भी विधानसभा चुनावों उतारा जा सकता है। उधर कुछ नेता पुत्र या वरिष्ठ नेताओं के रिश्तेदारे ने भी सूची में अपनी जगह सुरक्षित कर ली है। इस तरह पहली सूची में अधिकांश नाम मंत्रियो, विधायको, सांसदों और नेताओं के रिश्तेदारों के ही देखने को मिल सकते हैं।