झांसी DRM और प्रशासन की मदद से अपने घर पहुंचे ग्वालियर-चंबल संभाग के 500 यात्री

झांसी DRM और प्रशासन की मदद से अपने घर पहुंचे ग्वालियर-चंबल संभाग के 500 यात्री

ग्वालियर
लॉकडाउन (Lockdown) में देश के अलग-अलग राज्यों में काम करने वाले ग्वालियर-चंबल अंचल (Gwalior Chambal Region) के लोग मथुरा और झांसी स्टेशन पर फंसे थे. मथुरा में फंसे करीब 500 मुसाफिर बीती रात एक मालगाड़ी में सवार हो गए थे, ये मालगाड़ी ग्वालियर न ठहरते हुए झांसी रवाना हो गई. मुसाफिरों के परिवार वालों ने अफसरों से गुहार लगाई. जानकारी मिलने पर चंबल कमिश्नर रेणु तिवारी ने झांसी डीआरएम (Jhansi DRM) से बात की. यात्रियों को झांसी स्टेशन पर उतारा गया फिर एक विशेष ट्रेन से इन यात्रिय़ों को ग्वालियर लाया गया.

भिंड-मुरैना के हजारों लोग देश के अलग-अलग राज्यों में नौकरियां करते हैं. लॉकडाउन के दौरान ज्यादातर लोग अपने घर लौट आए थे. मुंबई, गुजरात, राजस्थान से आ रहे ग्वालियर चंबल के करीब 500 यात्री मथुरा स्टेशन पर फंसे थे. लॉकडाउन के दौरान मथुरा स्टेशन पर फंसे भिंड-मुरैना के करीब 500 से ज्यादा मुसाफिर एक मालगाड़ी में सवार हो गए. बुधवार देर रात मालगाड़ी जब मथुरा स्टेशन के ऑउटर पर रुकी, उसी दौरान ये यात्री अंधेरे में चोरी-छिपे पिछली वैगन में चढ़ गए.

इन मुसाफिरों को उम्मीद थी कि मालगाड़ी मुरैना या ग्वालियर स्टेशन पर रुकेगी तो वो उतर जाएंगे. लेकिन मालगाड़ी सुबह के वक्त मुरैना और ग्वालियर स्टेशन पर रुकने की बजाए सीधी झांसी के लिए निकल गई. डबरा में भी जब मालगाड़ी नहीं रुकी तो इसमें छिपकर बैठे मुसाफिरों ने अपने परिजनों को इसकी सूचना दी. परिजनों ने भिंड-मुरैना में पुलिस को जानकारी दी.

मुरैना से आए संभागीय जनसंपर्क अधिकारी डीडी शाक्यवार ने बताया कि चंबल कमिश्नर रेणु तिवारी ने खुद झांसी डीआरएम से फोन पर बात की और मालगाड़ी में बैठे मुसाफिरों ने उतारकर ग्वालियर तक भिजवाने की मदद मांगी. डीआऱएम के आदेश पर झांसी में मालगाड़ी को रोका गया और सभी मुसाफिरों को स्टेशन पर उतारा गया. झांसी रेलवे स्टेशन पर मौजूद स्वास्थ अमले ने सभी यात्रियों की स्क्रीनिंग की. इसके बाद झांसी से एक स्पेशल ट्रेन में सभी मुसाफिरों को बैठाया गया, इस दौरान दक्षिण भारत से आए ग्वालियर अंचल के करीब 100 और यात्री इसी ट्रेन में सवार हो गए.

दोपहर में स्पेशल ट्रेन ग्वालियर स्टेशन पर पहुंची, जहां स्टेशन पर ग्वालियर-चंबल के अधिकारी, स्वास्थ अमला और सुरक्षा बल मौजूद थे. सभी यात्रियों का ग्वालियर रेलवे स्टेशन पर दोबारा चैकअप किया गया और स्क्रीनिंग की गई. इसके बाद इन यात्रिय़ों के लिए चंबल कमिश्नर ने घर तक पहुंचाने के लिए बसों का इंतजाम किया था.