MPPSC में 3 लाख से ज्यादा उम्मीदवार शामिल, कोरोना गाइडलाइन के बीच परीक्षा

इंदौर
कोरोना की दूसरी लहर थमने के बाद मध्य प्रदेश में रविवार को सबसे बड़ी परीक्षा हुई. MPPSC की राज्य सेवा और वन सेवा प्रारंभिक परीक्षा-2020 प्रदेश के सभी 52 जिलों में 1 हजार 11 सेंटरों पर आयोजित की गई. ये परीक्षा दो सत्रों में हुई. इसमें 3 लाख 44 हजार 491 उम्मीदवार शामिल हुए.
जानकारी के मुताबिक, इंदौर जिले में 101 परीक्षा केंद्र बनाए गए. इनमें 38 हजार 79 परीक्षार्थी शामिल हुए. परीक्षा में किसी भी तरह की नकल या गड़बड़ी पर निगरानी के लिए 101 अफसरों की टीम तैनात की गई. साथ ही भीड़-भाड़ न हो इसके लिए पुलिस बल के जवान भी सभी परीक्षा केन्द्रों तैनात किए गए. इसके अलावा पुलिस ने लगातार पेट्रोलिंग भी की. हालांकि, उन्हें परीक्षा देने आए छात्र-छात्राओं के साथ संतुलित व्यवहार करने के निर्देश दिए गए हैं.
जिले में तीन परीक्षा केन्द्र कोरोना संक्रमित उम्मीदवारों के लिए आरक्षित किए गए थे. इनमें MGM मेडिकल कॉलेज, शासकीय निर्भय सिंह पटेल साइंस कॉलेज शामिल हैं. सवा साल बाद हो रही परीक्षा में कोरोना गाइड लाइन्स का पूरी तरह से पालन किया गया. छात्रों का परीक्षा केन्द्र के गेट पर टेम्परेचर लिया गया, उनके हाथों को सैनेटाइज किया गया. सबसे बड़ी दिक्कत बारिश की वजह से हुई. दूरदराज के इलाकों से आए उम्मीदवारों को भीगते पानी में परीक्षा केन्द्र तक पहुंचना पड़ा. बारिश से बचने के लिए छात्र रेनकोट पहनकर और छाता लेकर परीक्षा केन्द्रों तक पहुंचे. बारिश की वजह के कई छात्र परीक्षा केन्द्र तक पहुंचने में लेट भी हुए.
एमपीपीएससी की प्री-परीक्षा के लिए भोपाल में कुल 72 सेंटर तैयार किए गए हैं. इनमें से तीन सेंटर कोरोना पॉजिटिव परीक्षार्थियों के लिए तैयार किए गए हैं. अगर कोई परीक्षार्थी कोरोना पॉजिटिव है और इस परीक्षा में शामिल होना चाहता है तो उसके लिए अलग से तीन स्कूलों में कक्ष की व्यवस्था की गई है. शासकीय कन्या हायर सेकेंडरी स्कूल जहांगीराबाद, शासकीय बालक हायर सेकेंडरी स्कूल बस स्टैंड दशहरा मैदान के पास बैरागढ़, शासकीय नवीन कन्या हाई सेकेंडरी स्कूल सेकंड बस स्टॉप तुलसी नगर भोपाल में कोविड संक्रमित परीक्षार्थी अलग से परीक्षा दे रहे हैं. इसके अलावा सभी सेंटर्स पर एक-एक अतिरिक्त कक्ष की भी व्यवस्था की गई है, जिसमें कोरोना संक्रमण के संभावित लक्षण वाले (जैसे सर्दी, खांसी, जुकाम, बुखार, सांस लेने में कठिनाई आदि) अभ्यार्थियों को इस कक्ष में बैठाकर परीक्षा दिलाई जा रही है.