क्या देश के लोग मानते हैं कि हमारा PM ईमानदार है: केजरीवाल

 क्या देश के लोग मानते हैं कि हमारा PM ईमानदार है: केजरीवाल

 
नई दिल्ली 

आम आदमी पार्टी ने सोमवार को दिल्ली के आईटीओ में मौजूद दफ्तर में अपना छठा स्थापना दिवस मनाया। इस मौके पर आप के संयोजक और दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने कहा कि पिछले तीन सालों में उनके हर फैसले की केन्द्र सरकार द्वारा जांच कराने के बावजूद गड़बड़ी का एक भी तथ्य नहीं मिलना आप सरकार की ईमानदारी का सबसे बड़ा प्रमाण है, और उन्हें ईमानदारी का यह प्रमाणपत्र ‘‘मोदी जी’’ से मिला है। 
 
पीएम ने दिया ईमानदारी का सर्टिफिकेट
केजरीवाल ने पार्टी मुख्यालय में कार्यकर्ताओं को संबोधित करते हुये कहा कि तीन साल में हमारी सरकार ने जितने भी निर्णय लिये थे, उनसे जुड़ी वे सभी 400 फाइलें मोदी जी ने, हमारे खिलाफ कोई भी गड़बड़ी निकालने के लिये मंगा ली जिन पर मैंने दस्तखत किये थे। लेकिन कुछ भी नहीं निकला। मुझे ईमानदारी का सर्टिफिकेट प्रधानमंत्री मोदी जी से मिला है। उन्होंने दिल्ली सरकार की ईमानदारी का हवाला देते हुये कहा कि आज यहां की जनता कहती है कि हमारा मुख्यमंत्री ईमानदार है। मैं देश की जनता से पूछना चाहता हूं कि क्या आप दिल से कह सकते हो कि हमारा प्रधानमंत्री ईमानदार है।  
 आप के साढ़े 3 साल मोदी के 12 साल पर भारी
मुख्यमंत्री ने मोदी सरकार पर निशाना साधते हुए कहा कि विजय माल्या ने 6 हजार करोड़ का लोन लिया और वो विदेश भाग गया। मोदी जी सरकार चला रहे हैं या अखाड़ा चला रहे हैं। माल्या भागा नहीं उसे भगाया गया है, नीरव मोदी भी पैसे लेकर भाग गया। ये सरकार बैंक से पैसा दिलवाती है और रात में हवाई जहाज से भगा देती है। मोदी जी 12 साल तक गुजरात मॉडल चिल्लाते थे लेकिन हम चैलेंज करते हैं कि उन 12 साल को दिल्ली के साढ़े 3 साल से मिला लो। आम आदमी पार्टी सरकार के साढ़े 3 साल मोदी के गुजरात मॉडल के 12 साल पर भारी हैं। 

 राजनीतिक क्रांति बन कर उभरी आप 
केजरीवाल ने कहा कि यह नियति का एक इशारा है कि आज देश में संविधान पर जो खतरा मंडरा रहा है उस खतरे से देश को निजात दिलाने में कोई और पार्टी सक्षम नहीं है, सिर्फ आप ही इस खतरे से निजात दिला सकती है। मुख्यमंत्री ने पिछले छह साल में आप की उपलब्धियों को उल्लेखनीय बताते हुये कहा कि हर तरह की बाधाओं के बावजूद अपने कामों के बलबूते पार्टी भ्रष्टाचार और सांप्रदायिकता के खिलाफ राजनीतिक क्रांति बन कर उभरी है।