व्यापम घोटाले का मास्टमाइंड भी है चुनाव मैदान में, BSP ने दिया यहां से टिकट

भिंड
व्यापम घोटाले का मास्टर माइंड जगदीश सागर अब अपनी राजनीतिक पारी शुरू कर रहा है. वो भिंड की गोहद विधानसभा सीट से बीएसपी के टिकट पर चुनाव लड़ रहा है. इस सीट से बीजेपी के लाल सिंह आर्य और कांग्रेस से रणवीर जाटव चुनाव मैदान में हैं.
शिवराज सरकार के दौरान हुए व्यापम घोटाले ने मध्य प्रदेश की राजनीति में अच्छा-ख़ासा भू-चाल ला दिया था. व्यापम के ज़रिए प्रोफेशनल कोर्सेस की परीक्षाओं और सरकारी नौकरियों में भर्ती के इस घोटाले का ख़ुलासा हुआ था. मेडिकल कॉलेजों में भर्ती के इस घोटाले में सबसे पहले जिन लोगों का नाम आया, उनमें जगदीश सागर प्रमुख था. कांग्रेस ने इस मुद्दे को ज़ोरशोर से उठाया था और अब भी व्यापाम घोटाला उसके लिए बड़ा चुनावी मुद्दा है.
पेशे से डॉक्टर, जगदीश सागर इस घोटाले का मास्टर माइंड था. आरोप है कि उसने पीएमटी में फर्ज़ीवाड़ा कर 100 से ज़्यादा विद्यार्थियों को ग़लत तरीके से मेडिकल कॉलेजों में दाख़िला दिलाया था. जांच में खुलासा होने पर इंदौर क्राइम ब्रांच पुलिस ने 2013 में उसे मुंबई से गिरफ़्तार किया था.
व्यापम घोटाले के इस आरोपी ने अपने नामांकन पत्र के साथ शपथ पत्र में अपनी संपत्ति का जो ब्यौरा दिया है, उसके मुताबिक, सागर के 31 छोटे बड़े प्लॉट हैं. उसकी चल संपत्ति की कीमत 1.82 करोड़ है. पत्नी सुनीता सागर 39.29 की संपत्ति की मालिक है. सागर दंपति अपनी ऐश-ओ-आराम की ज़िंदगी के लिए जाना जाता है. इसके सिवाय व्यापम घोटाले के इस आरोपी के पास 3.78 करोड़ की अचल संपत्ति और उसकी पत्नी के पास 1.30 करोड़ की संपत्ति है.
प्रवर्तन निदेशालय इंदौर और भिंड में डॉ जगदीश सागर की 18 करोड़ की चल-अचल संपत्ति अटैच कर चुका है. सागर दंपति भिंड का रहने वाला है.
2013 में गिरफ़्तारी के बाद सागर ने राजनीति में उतरने के अपने इरादे ज़ाहर कर दिए थे. पिछले महीने उसने टिकट के लिए बीएसपी से संपर्क किया था. भिंड के स्थानीय बीएसपी नेताओं ने उसकी उम्मीदवारी पर विरोध जताया था. डॉ जगदीश सागर ने शपथ पत्र में अपने ख़िलाफ दायर आपराधिक मामलों का ब्यौरा दिया है. इसमें मध्य प्रदेश पीएमटी घोटाला और मनी लॉड्रिंग केस भी शामिल है.
व्यापम के इस महाघोटाले के आरोपी को टिकट देने पर बीएसपी का कहना है कि सागर ने टिकट मांगते समय ये कहा था कि उसे एससी वर्ग का होने के कारण फंसाया गया है. पार्टी का ये भी कहना है कि जब व्यापम स्कैम में सीएम शिवराज का नाम आने पर वो चुनाव लड़ सकते हैं तो फिर जगदीश सागर क्यों नहीं लड़ सकते.