किसानों के हित में बड़ा फैसला: मुख्यमंत्री अवधिपार ब्याज राहत एकमुश्त समझौता योजना 2025-26 की बढ़ाई अवधि

जयपुर। सहकारिता राज्य मंत्री (स्वतंत्र प्रभार) गौतम कुमार दक ने बताया कि राज्य सरकार ने भूमि विकास बैंकों के अवधिपार ऋणी सदस्यों के हित में बड़ा फैसला लेते हुए मुख्यमंत्री अवधिपार ब्याज राहत एकमुश्त समझौता योजना 2025-26 की अवधि बढ़ा दी है। योजना के अंतर्गत पात्र ऋणी अब अपने हिस्से की न्यूनतम 25 प्रतिशत राशि 30 सितम्बर, 2025 तक जमा करवा सकेंगे। पूर्व में यह तिथि 30 जून तक निर्धारित थी।
दक ने बताया कि योजना को लेकर ऋणी सदस्यों में काफी उत्साह है। योजना के अंतर्गत मिलने वाले लाभ से आकर्षित होकर अवधिपार खातों के निस्तारण हेतु प्रदेश के सहकारी भूमि विकास बैंकों में योजना के अंतिम दिन 30 जून को भारी भीड़ उमड़ी और पोर्टल पर रसीदें कटवाने के लिए देर रात्रि तक कतारें लगी रहीं। इसके बावजूद कई ऋणी सदस्य योजना के लाभ से वंचित रह गए थे। योजना के लाभ से वंचित रहे ऐसे ऋणी सदस्यों की ओर से लगातार आ रही मांग के आधार पर राज्य सरकार ने अन्तिम तिथी को बढ़ाकर 30 सितम्बर 2025 तक करने का अहम निर्णय लिया है।
सहकारिता मंत्री ने बताया कि मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा की किसान हित में लागू इस योजना से लाभान्वित ऋणी सदस्यों को पुनः मुख्यधारा में लाए जाने के लिए भूमि विकास बैंकों के माध्यम से राज्य सरकार की 5 प्रतिशत ब्याज अनुदान योजना में दीर्घकालीन कृषि व अकृषि निवेश ऋण भी वितरित किए जाएंगे। इसके लिए प्रदेश के 36 प्राथमिक बैंकों को ऋण वितरण लक्ष्य आवंटित किए गए है। उन्होंने बताया कि एकमुश्त समझौता योजना के अंतर्गत कुल 30,007 पात्र ऋणियों में से अब तक 7,500 से अधिक ऋणी सदस्यों को लगभग 130 करोड़ रुपये का ब्याज राज्य सरकार द्वारा वहन किया जाकर राहत से लाभान्वित किया गया है। इसके परिणामस्वरूप ऋणी किसान भूमि विकास बैंकों के पास रहन रखी अपनी भूमि को मुक्त करवा सकेंगे।
उल्लेखनीय है कि राज्य सरकार द्वारा किसानों के हित में लागू की गई इस महत्वपूर्ण योजना के अंतर्गत ऋणियों को अवधिपार ब्याज, दण्डनीय ब्याज एवं वसूली खर्च में शत प्रतिशत राहत दिए जाने का प्रावधान है। पात्र ऋणियों द्वारा केवल मूलधन एवं बीमा प्रीमियम की राशि चुकाई जानी है।