अम्बिकापुर, शासन के निर्देषानुसार किसानों को आदिम जाति सेवा सहकारी समितियों के माध्यम से समय पर खाद-बीज प्राप्त हो रहा है। किसान अपने किसान क्रेडिट कार्ड का उपयोग कर खाद एवं बीज आसानी से प्राप्त कर रहे हैं। कलेक्टर श्रीमती किरण कौषल ने आदिम जाति सेवा सहकारी समिति के अधिकारियों एवं कर्मचारियों से किसानों को आवष्यकतानुसार समय पर खाद-बीज देने के निर्देष दिए हैं। उन्होंने कहा है कि किसान क्रेडिट कार्ड के माध्यम से किसानों को खेती के लिए खाद-बीज प्रदान करें। खेती के लिए उपयुक्त समय पर खाद-बीज मिलने से किसान हर्षित होकर खेती कर रहे हैं।

किसान को समय पर खाद-बीज मिलने से पूरी लगन एवं मेहनत के साथ खेती कर रहे हैं। जिन किसानों के पास सिंचाई की सुविधा नही है, उनके लिए समय पर बारिष भी अत्यंत महत्वपूर्ण है। समय पर बारिष होने से किसानों की खेती रंग ला रही है तथा अच्छी पैदावार की आषा के साथ वे खेती का कार्य कर रहे हैं। अम्बिकापुर जनपद के आदिम जाति सेवा सहकारी समिति मेण्ड्राकला अंतर्गत सुखरी ग्राम निवासी श्री जूठन राम ने बताया कि वे 5 एकड़ कृषि भूमि में खेती करते हैं। उन्होंने बताया कि खरीफ के मौसम में वे धान की खेती करते हैं। उन्होंने बताया कि पिछले वर्ष सहकारी समिति मेण्ड्राकला से 6 बोरी यूरिया तथा 5 बोरी ईफको खाद किसान क्रेडिट कार्ड के माध्यम से लिया गया था। उन्होंने बताया कि बीते वर्ष धान फसल की अच्छी पैदावार होने पर समिति में शासन द्वारा निर्धारित समर्थन मूल्य में 1 लाख 3 हजार रूपये की धान बिक्री की गई तथा धान विक्रय करने पर शासन द्वारा 19 हजार 500 रूपए का बोनस राषि भी प्रदान किया गया। श्री जूठन राम ने बताया कि किसान क्रेडिट कार्ड के माध्यम से आज खेती-किसानी के लिए खाद एवं बीज आसानी से समय पर प्राप्त हो रहा है। समिति में सही समय पर खाद एवं बीज प्राप्त हो जाने से किसानों को साहूकारों से ऋण नहीं लेना पड़ता और ना ही अपने खेतों को गिरवी रखने की नौबत आती है। जूठन राम ने किसान क्रेडिट कार्ड को किसानों के लिए अत्यंत उपयोगी बताया।
मेण्ड्रा ग्राम निवासी षिवरतन सिंह ने बताया कि उसके परिवार में 12 एकड़ कृषि भूमि है, जिसमें वे खरीफ मौसम में धान की खेती करते हैं। उन्होंने बताया कि अपनी खेती वे स्वयं के टै्रक्टर से करते हैं। षिवरतन ने बताया कि पिछले वर्ष सहकारी समिति मेण्ड्राकला से 12 बोरी यूरिया तथा 12 बोरी ईफको खाद किसान क्रेडिट कार्ड के माध्यम से लिया गया था। उन्होंने बताया कि बीते वर्ष धान फसल की अच्छी पैदावार होने पर समिति में 1 लाख 70 हजार रूपये का धान विक्रय किया गया था तथा समर्थन मूल्य में धान विक्रय करने पर शासन द्वारा 45 हजार रूपए का बोनस प्रदान किया गया था।