पंचायत का तुगलकी फरमान, अंडा टूटने पर 5 साल की बच्ची का हुक्का-पानी किया बंद

बूंदी जिले
 राजस्थान के बूंदी जिले में खाप पंचायत ने तुगलकी फरमान सुनाकर सनसनी फैला दी है। पांच साल की मासूम के पैर से टिटहरी का अंडा टूट जाने पर पंचायत ने बच्ची को बहिष्कार कर दिया गया। प्रथम कक्षा में पढ़ने वाली छात्रा के को 11 दिनों तक घर से बेदखल कर दिया। बाल संरक्षण आयोग को जैसे ही घटना की जानकारी मिली तो तुरंत इस पर कार्रवाई की गई।

जानकारी के अनुसार छात्रा हरिपुरा के राजकीय प्राथमिक विधालय में पढ़ने गई थी। यहां उससे गलती से टिटहरी के अंडे फूट गए। इसे पंचायत ने गांव के भविष्य के लिए अशुभ बताया और बच्ची के परिवार वालों को तलब किया। जिसके बाद पंचायत ने बच्ची को जाति से बाहर करने का फैसला सुना दिया। मासूम को घर से सटे टीनशेड में तीन दिनों तक रहने की सजा भी सुनाई गई। अब वह घर के बाहर ही एक पलंग पर रहने को मजबूर है। उससे जानवरों जैसा बर्ताव किया गया उसकी थाली में दूर से ही खाना फेंक दिया जाता था।

वहीं जब बच्ची के पिता ने इसका विरोध किया तो पंचों ने लड़की की सजा की अवधि बढ़ाकर 11 दिन कर दी। सूचना मिलते ही हिण्डोली पुलिस और जिला प्रशासन के आलाधिकारी मौके पर पहुंचे और घटना की जानकारी ली। इसी बीच बाल विकास संरक्षण आयोग की अध्यक्ष मनन चतुर्वेदी भी हरिपुर गांव पहुंची और बच्ची की घर वापसी करवाई। मनन चतुर्वेदी ने पंचों को फटकार लगाते हुए कहा कि बच्ची को माता-पिता से दूर नहीं किया जा सकता। उन्होंने कहा कि एक बच्ची से गलती से अंडा टूट गया। आपके पैरों से तो रोज कई चीटियां मर रही होंगी। ऐसे में आपको क्या सजा दी जाए।  इसके बाद बाल संरक्षण आयोग ने आरोपियों के खिलाफ मामला भी दर्ज करवाया।