शहीद विधायक की पत्नी ने कहा - जल्द होगा झीरम हमले की साजिश का पर्दाफाश

शहीद विधायक की पत्नी ने कहा - जल्द होगा झीरम हमले की साजिश का पर्दाफाश

रायपुर
झीरम घाटी के नक्सल हमले में शहीद पूर्व विधायक उदय मुदलियार की धर्मपत्नी अलका मुदलियार ने मुख्यमंत्री भूपेश बघेल द्वारा इस घटना की उच्च स्तरीय जांच के लिए एसआईटी गठन के फैसले का स्वागत किया है। उन्होंने इसके लिए बघेल को धन्यवाद दिया है।  

उदय मुदलियार राजनांदगांव के पूर्व विधायक थे। मुदलियार ने आज कहा कि मुख्यमंत्री बघेल द्वारा शपथ ग्रहण के तत्काल बाद एस.आई.टी की गठन की घोषणा से न सिर्फ हमारे परिवार को, बल्कि झीरम घाटी में शहीद सभी लोगों के शोकाकुल परिवारों में अब जल्द-जल्द से न्याय मिलने की उम्मीद जागी है। अब हमें यह भी विश्वास है कि एसआईटी द्वारा इस आपराधिक वारदात की साजिश का जल्द से जल्द पर्दाफाश होगा और अपराधियों को पकड़कर उनके खिलाफ कड़ी कानूनी कार्रवाई की जाएगी। मुदलियार ने मुख्यमंत्री द्वारा इसके लिए सरकार गठन के तुरंत बाद पहली केबिनेट में पारित निर्णय को उनकी संवेदनशीलता का परिचायक बताया। 

मुदलियार ने कहा- बस्तर जिले में लगभग साढ़े पांच साल पहले हुए इस नक्सल हमले में  मैंने अपने पति उदय मुदलियार को खोया। मेरे परिवार ने अपना मुखिया खोया। हम सब, जिन्होंने अपनों को इस हमले में खोया, वे सभी परिवार भूपेश बघेल के मुख्यमंत्री बनते ही उनके एसआईटी गठन के निर्णय से पूरी तरह आश्वस्त है कि उन्हें न्याय मिलेगा। 
 
स्वर्गीय उदय मुदलियार के बेटे जितेंद्र मुदलियार ने बताया कि झीरम घाटी की यह दुःखद घटना उनके परिवार के लिए अपूरणीय क्षति रही। उनके पिता को चचेरे भाई की शादी में शामिल होने सपरिवार नागपुर आमंत्रित किया गया था, लेकिन उन्होंने सार्वजनिक जीवन के अपने कर्तव्य को ज्यादा प्राथमिकता दी और वे बस्तर जिले प्रवास पर निकल गए। उस दिन हमने साथ लंच किया। फिर पिता बस्तर के लिए रवाना हो गए। 

उनके साथ बिताया खुशनुमा पल फिर कभी लौटकर नहीं आया। शाम को पापा के नजदीकी मित्रों ने इस दुःखद घटना की जानकारी दी। हम लोग इतने बड़े षड़यंत्र के बारे में सोच भी नहीं सकते थे। उस एक पल में हम लोगों ने क्या खो दे दिया, इसे शब्दों में व्यक्त नहीं कर सकते।