पुलिस अभिरक्षा में विदेशी नस्ल के 13 कुत्ते

पुलिस अभिरक्षा में विदेशी नस्ल के 13 कुत्ते

कोर्ट के आदेश के बाद जिम्मेदारों को छूटा पसीना

बृजेश परमार उज्जैन। उज्जैन का माधव नगर थाना सोमवार को विदेशी नस्ल के कुत्तों से भर गया। एक दर्जन से अधिक चुवावा, मैस्टिफ, बुलडॉग, लैब्राडोर नस्ल के कुत्ते लेकर पीएफए नाम की एनजीओ के सदस्य थाने पहुंचे थे।

मेडिकल भी कराया

विदेशी नस्ल के कुत्ते थाने में देख पुलिस भी हैरान हो गई। पहले तो मामला पुलिस को भी समझ में नहीं आया लेकिन बाद में पता चला कि कोर्ट ने आदेश दिया है कि कुत्तों की मेडिकल जांच के बाद पुलिस उन्हें अपनी अभिरक्षा में ले।

टेंशन में पुलिस

पुलिस ने लिखा पढ़ी करके कुत्तों का लालपुर स्थित पशु चिकित्सालय में मेडिकल कराया। अब पुलिस के सामने यह समस्या है कि इन्हें कैसे संभाला जाए। कुत्तों को लेकर वह एनजीओ को ही सशर्त इसे वापस कर सकती है। हालांकि कोर्ट के आदेश के मद्देनजर पुलिस अफसर काफी टेंशन में हैं।

लॉकडाउन में किए गए थे जब्त

लॉकडाउन के दौरान उज्जैन के नानाखेड़ा थाना क्षेत्र के मगरिया गांव में ब्रीडर रंजीत के फॉर्म हाउस से विदेशी नस्ल के कुत्तों को तत्कालीन एडीएम और पशु चिकित्सक की टीम ने बरामद किए थे। स्थानीय लोगों ने शिकायत की थी कि फॉर्म हाउस में कुत्तों की दशा बहुत ही दयनीय है। ब्रीडर से कुत्तों को जब्त करने के बाद प्रशासन ने उन्हें पीएफए नाम की एनजीओ को सुपुर्दगी में दे दिया।

ब्रीडर ने कोर्ट में लगाई गुहार

नानाखेड़ा थाने के एसआई तरुन कुरील ने बताया कि कुत्तों को वापस दिलाने संबंधी एक याचिका ब्रीडर रंजीत ने अदालत में लगाई है। रंजीत का यह भी आरोप है कि एनजीओ ने कुत्तों को अपने पास रखने के बजाए लोगों में बांट दिए। अदालत के आदेश पर कुत्तों का सोमवार को मेडिकल परीक्षण कराया गया है।

एनजीओ ब्रीडर को नहीं देना चाहती

एनजीओ के सदस्यों का कहना है कि कुत्तों को जब ब्रीडर के फॉर्म हाउस से रेस्क्यू किया गया था तब उनकी हालत बहुत ही खराब थी। उन्हें खाने-पीने को कुछ भी नहीं दिया जाता था। अब कुत्तों की दशा बहुत ही अच्छी है।