अयोध्या में रामलला की मूर्ति की प्राण प्रतिष्ठा: देश के 5 लाख से अधिक मंदिरों में होगा राम नाम संकीर्तन

अयोध्या में रामलला की मूर्ति की प्राण प्रतिष्ठा: देश के 5 लाख से अधिक मंदिरों में होगा राम नाम संकीर्तन

अयोध्या, श्रीराम जन्मभूमि मंदिर के गर्भगृह में रामलला की मूर्ति की प्राण प्रतिष्ठा कार्यक्रम को पूरे देश का मेगा इवेंट बनाने की तैयारी है। अयोध्या में प्राण प्रतिष्ठा कार्यक्रम के लगभग 10 दिन पहले से देश के 5 लाख से अधिक मंदिरों में राम नाम संकीर्तन शुरू कराया जाएगा। इसमें सिख, जैन समेत कई धर्मों के लोगों को भी जोड़ा जाएगा। श्रीराम जन्मभूमि मंदिर में प्राण प्रतिष्ठा कार्यक्रम लाइव दिखाया जाएगा। कार्यक्रम के बाद मौजूद लोगों को प्रसाद दिया जाएगा, साथ ही घर-घर प्रसाद बांटा जाएगा।

लाखों लोगों के अयोध्या में रुकने के लिए इंफ्रास्ट्रक्चर विकसित किया जा रहा

श्रीराम जन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र ट्रस्ट के महासचिव चंपत राय ने इसी के साथ यह भी साफ कर दिया है कि श्रीराम मंदिर के प्राण प्रतिष्ठा कार्यक्रम की पूरी जिम्मेदारी आरएसएस संभालेगा, क्योंकि देश में बड़े कार्यक्रम करने का सबसे ज्यादा अनुभव इसी संगठन के पास है और इसकी तैयारी भी शुरू कर दी गई है। जनवरी 2024 में जब रामलला की गर्भगृह में प्राण प्रतिष्ठा होगी, उस समय सर्दी का मौसम होगा। ऐसे में लाखों लोगों के अयोध्या में रुकने के लिए इंफ्रास्ट्रक्चर विकसित किया जा रहा है, लेकिन यह नाकाफी होगा। इसीलिए श्रीराम मंदिर ट्रस्ट ने पूरे देश के लोगों को इस कार्यक्रम से जोडऩे के लिए बड़ी योजना तैयार की है। इसके अनुसार, पूरे देश के गांवों और नगरों में कार्यक्रम लाइव दिखाया जाएगा।

सिख और जैन समाज सहित कई धर्मों के लोगों को जोडऩे की अपील की जाएगी

प्राण प्रतिष्ठा कार्यक्रम के 10 दिन पहले से हर स्थान पर राम नाम संकीर्तन शुरू किया जाएगा। इसमें सिख और जैन समाज सहित कई धर्मों के लोगों को जोडऩे की अपील की जाएगी। जो अपनी मर्जी से अपने धर्म के अनुसार मंदिरों में पाठ और धार्मिक कार्यक्रम कर सकते हैं। इसी के साथ इस बात की भी आजादी होगी कि कार्यक्रम का संचालन करने वाली समिति या संगठन अपने बैनर का इस्तेमाल कर सकते हैं।

अपनी अपनी श्रद्धा के अनुसार पूजा पाठ कर सकते हैं
श्रीराम जन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र ट्रस्ट के महासचिव चंपत राय ने कहा कि हिंदुस्तान में कितने मंदिर हैं तो 10 लाख से अधिक होंगे। हिंदुस्तान में ढाई लाख पंचायतें हैं। हर पंचायत में एक मंदिर जरूर होगा। शहर और नगरों के ढाई लाख मोहल्ले मान लो तो अगर 5 लाख मोहल्लों में 10 से 12 दिन पहले से अपनी अपनी श्रद्धा और आस्था के अनुसार नाम संकीर्तन कर सकते हैं। उन्होंने कहा कि हमने कोई यज्ञ की चर्चा नहीं की है। लाखों रुपये खर्च करके कोई योजना हमने नहीं बनाई है और न बनाएंगे। नाम संकीर्तन 24 घंटे का नहीं 2 घंटे करो, 3 घंटे करो या आपके गांव या समाज परिस्थितियों के अनुसार करें। यहां से कोई मंत्र नहीं दिया जाएगा। सब अपनी अपनी श्रद्धा के अनुसार पूजा पाठ कर सकते हैं।

प्रसाद घर-घर वितरित किया जाएगा।
देशभर के 5 लाख से अधिक मंदिरों में यह खास आयोजन होगा। इस दौरान कार्यक्रम स्थल पर बड़ी-बड़ी टीवी स्क्रीन और एलईडी पैनल के जरिए प्राण प्रतिष्ठा कार्यक्रम लाइव दिखाया जाएगा। अयोध्या में प्राण प्रतिष्ठा कार्यक्रम के बाद प्रसाद का वितरण होगा। प्रसाद घर-घर वितरित किया जाएगा। अयोध्या में रामलला की मूर्ति की प्राण प्रतिष्ठा कार्यक्रम अपने आपमें एक वृहद आयोजन होगा। इसको लेकर भी राम मंदिर ट्रस्ट ने साफ कर दिया है कि इस आयोजन की सभी व्यवस्थाएं राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के हाथ में होंगी। इसके पीछे श्रीराम मंदिर ट्रस्ट के महासचिव इस दलील के साथ तर्क देते हैं कि मैं राम मंदिर ट्रस्ट में हूं, विश्व हिंदू परिषद में हूं, लेकिन मैं आरएसएस का हूं और राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ व उससे जुड़े लोगों को ही देश में बड़े आयोजन कराने का अनुभव है। इसलिए उसकी तैयारी भी शुरू हो गई है। पिछले 3 महीनों से हर 15 दिन पर इसको लेकर मंथन चल रहा है।

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