अप्रैल में FPI ने की 15,500 करोड़ रुपए की निकासी

नई दिल्ली
 सरकारी बांड से कमाई बढऩे और कच्चे तेल की वैश्विक कीमतों में तेजी आने से विदेशी निवेशकों ने घरेलू पूंजी बाजार से अप्रैल महीने के दौरान 15,500 करोड़ रुपए की निकासी की। यह पिछले 165 महीनों की सर्वाधिक निकासी है। इससे पहले मार्च में विदेशी पोर्टफोलियो निवेशकों (एफ.पी.आई.) ने घरेलू शेयर बाजारों से 11,654 करोड़ रुपए लगाए थे और ऋणपत्र बाजार से 9000 करोड़ रुपए की निकासी की थी। एफ.पी.आई. ने फरवरी में भी पूंजी बाजार से 11,674 करोड़ रुपए निकाले थे।

ताजा आंकड़ों के अनुसार, बीते माह एफ.पी.आई. ने शेयर बाजारों से 5,552 करोड़ रुपए और ऋणपत्र बाजार से 10,036 करोड़ रुपए निकाले। यह दिसंबर 2016 के बाद किसी भी महीने की गई सर्वाधिक निकासी है। तब एफ.पी.आई. ने घरेलू पूंजी बाजार से 27 हजार करोड़ रुपए निकाले थे। इस साल एफ.पी.आई. अब तक शेयर बाजारों में 7,100 करोड़ रुपए के शुद्ध लिवाल और ऋणपत्र बाजार में 14 हजार करोड़ रुपए के शुद्ध बिकवाल रहे हैं।

रिलायंस सिक्योरिटीज के शोध प्रमुख राकेश तारवे ने कहा, ‘‘घरेलू स्तर पर सरकारी बांड से कमाई बढऩे के कारण ऋणपत्र बाजार में बिकवाली रही जबकि शेयर बाजारों से निकासी का कारण वैश्विक बाजारों में कमाई बढऩा और कच्चे तेल की कीमतें बढऩे से भारतीय अर्थव्यवस्था के वृहद आर्थिक परिस्थितियों का बिगडऩा है। इसके अलावा आसन्न विधानसभा चुनावों से पहले एफ.पी.आई. द्वारा की गई मुनाफावसूली भी वजह है।’’