फैसले से खुश नहीं हूं: सरिता
नयी दिल्ली
आईबा महिला विश्व मुक्केबाजी प्रतियोगिता के राउंड 16 में उलटफेर का शिकार होकर बाहर हो जाने वाली अनुभवी मुक्केबाज एल सरिता देवी (57-60) अपने मुकाबले में जजों के फैसले से खुश नहीं हैं लेकिन वह इसके खिलाफ विरोध दर्ज नहीं कराएंगी। यहां आईजी स्टेडियम स्थित केडी जाधव हाल में चल रही इस प्रतियोगिता में 36 साल की मणिपुर की सरिता को आयरलैंड की केली एन हैरिंगटन ने लाइट वेट (57-60 )वर्ग में कड़े मुकाबले में 3-2 से पराजित किया। हैरिंगटन ने यह मुकाबला 29-28, 28-29, 29-28, 28-29, 29-28 से जीता। मुकाबले के बाद सरिता ने कहा कि वह फैसले से खुश नहीं हैं लेकिन वह कुछ नहीं कर सकती हैं। सरिता ने कहा, मैं इस फैसले से खुश नहीं हूं। लेकिन मैं क्या कर सकती हूं। आखिरी राउंड में अंक मुझे मिलना चाहिए था लेकिन अंक विपक्षी मुक्केबाज को मिल गया।
12 साल बाद प्रतियोगिता में वापसी करने वाली सरिता ने कहा, ऐसा फैसला क्यों लिया ये जज ही बेहतर जानते होंगे। उन्हें मालूम होगा कि मुझे क्यों हराया। मैंने आखिरी राउंड जीता था लेकिन परिणाम मेरे पक्ष में नहीं आया। फैसले के खिलाफ किसी तरह का विरोध करने के बारे में पूछे जाने पर सरिता ने कुछ निराशा के साथ कहा, एशियाई खेलों में भी मैंने विरोध किया था लेकिन नतीजा क्या निकला, मुझे ही सजा दी गयी। मैंने एक साल तक भुगता था इसलिए मैं अब विरोध नहीं कर सकती। इस हार के बावजूद जीवट की धनी और पूर्व स्वर्ण विजेता सरिता ने पूरे आत्मविश्वास के साथ कहा कि उनमें जब तक जान है वह मुक्केबाजी जारी रखेंगी। सरिता ने कहा, मैंने हमेशा संघर्ष किया है और अपनी लड़ाई मैं आगे भी जारी रखूंगी। मैं कभी हिम्मत नहीं हारती और मैं मुक्केबाजी छोड़ूँगी नहीं। मेरे अंदर एक आग है और मैं अपनी अकादमी के मुक्केबाजों के बीच इस आग को जलाऊँगी। सरिता ने साथ ही कहा कि वह प्रतियोगिता में मौजूद रहकर साथी मुक्केबाजों का हौसला बढ़ाना जारी रखेंगी।