प्रदेश अध्यक्ष भूपेश बघेल पर FIR पर भड़की पार्टी, निर्वाचन पदाधिकारियों पर भेदभाव का लगाया आरोप
रायपुर
प्रदेश कांग्रेस के अध्यक्ष भूपेश बघेल पर निषेधाज्ञा उल्लंघन पर एफआइआर दर्ज होने से पार्टी भड़क गई है। शनिवार को पार्टी नेता रुचिर गर्ग, डॉ. राकेश गुप्ता सहित अन्य नेताओं ने निर्वाचन पदाधिकारियों पर भेदभाव के आरोप लगाए।
कांग्रेस नेताओं ने कहा, मुख्य निर्वाचन पदाधिकारी से जातीय द्वेष फैलाने के मामले की शिकायत हुई थी। उसके इलेक्ट्रॉनिक साक्ष्य तक उपलब्ध कराए गए। उसके बावजूद कोई कार्रवाई नहीं हुई। लेटर पैड को फोटोशॉप कर मतदान से एक दिन पहले कांग्रेस की घोषणा को लेकर भ्रम पैदा करने की कोशिश की शिकायत हुई। उसपर तत्काल कार्रवाई होनी चाहिए थी जो नहीं हुई।
नेताओं ने कहा, जयस्तंभ चौक और मालवीय रोड पर रैली प्रतिबंधित है। वहां धार्मिक आयोजनों को भी अनुमति नहीं है। वहां धारा 144 लागू है, इसके बावजूद भाजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष अमित शाह रायपुर के प्रत्याशियों को लेकर रोड शो करते हैं। जिला प्रशासन और निर्वाचन आयोग के पदाधिकारी कोई कार्यवाही नहीं करते, उल्टे सुरक्षा मुहैया कराते हैं। कांग्रेस ने मामले में मुख्य निर्वाचन आयुक्त से छत्तीसगढ़ मुख्य निर्वाचन पदाधिकारी कार्यालय के अफसरों के भूमिका की जांच की मांग की है।
कांग्रेस के पास आयोग और सरकार के बीच फर्क करने की तमीज नहीं
कांग्रेस के आरोपों पर भाजपा ने भी बिंदुवार जवाब दिया है। भाजपा के प्रदेश प्रवक्ता संजय श्रीवास्तव ने कहा है कि कांग्रेस में चुनाव आयोग और सरकार के बीच फर्क करने की भी तमीज नहीं बची है। अच्छा है हुआ कि कांग्रेस पहले ही कथित गंगाजल पी ली है। हम कांग्रेस के विसर्जन के बाद उसकी सद्गति की कामना करते हैं। रिजल्ट के बाद कम से कम कांग्रेस हाफ और भूपेश राजनीति से साफ हो जाएंगे।