बेन स्टोक्स का जुझारू शतक, इंग्लैंड ने ऑस्ट्रेलिया को एक विकेट से हराया, सीरीज बराबर

नई दिल्ली
दुनिया के सर्वश्रेष्ठ ऑलराउंडर कहे जाने वाले बेन स्टोक्स (135* रन, 219 गेंद, 11 चौके, 8 छक्के) की जुझारी शतकीय पारी की बदौलत इंग्लैंड ने एशेज सीरीज के तीसरे मुकाबले में ऑस्ट्रेलिया को 1 विकेट से हरा दिया। मेजबान टीम को 359 रनों का लक्ष्य मिला था। जवाब में बैटिंग करने उतरी इंग्लिश टीम का 9वां विकेट 286 रनों पर ही गिर गया था, लेकिन वह स्टोक्स और जैक लीच (1) ही थे जिन्होंने मोर्चा संभाला और 10वें विकेट के लिए नाबाद 62 गेंदों में 76 रनों की नाबाद साझेदारी करते हुए इंग्लैंड को अविश्वसनीय जीत दिला दी।
सीरीज बराबर
इस जीत के साथ ही इंग्लैंड ने ऐशज सीरीज में 1-1 से बराबरी कर ली है। ऑस्ट्रेलिया की पहली पारी में 179 रन के जवाब में इंग्लैंड की पहली पारी मात्र 67 रन पर सिमट गई थी, जो पिछले 71 साल में एशेज में उसका न्यूनतम स्कोर है। ऑस्ट्रेलिया ने दूसरी पारी में 246 रन बनाए, जिसके आधार पर इंग्लैंड को 359 रनों का लक्ष्य मिला था। सीरीज का पहला मैच आस्ट्रेलिया ने 251 रनों से जीता था जबकि दूसरा मैच ड्रॉ रहा था।
91 वर्ष का रेकॉर्ड टूटा
इस जीत के साथ ही इंग्लैंड ने 91 वर्ष पहले बनाया अपना रेकॉर्ड पीछे छोड़ दिया। 1928/29 में इंग्लैंड ने मेलबर्न में 332 रनों का लक्ष्य का पीछा करते हुए 3 विकेट से जीत दर्ज की थी। सबसे बड़े लक्ष्य का पीछा करते हुए जीत (इंग्लैंड)...
359 vs ऑस्ट्रेलिया, लीड्स 2019
332 vs ऑस्ट्रेलिया, मेलबर्न 1928/29
315 vs ऑस्ट्रेलिया, लीड्स 2001
305 vs न्यू जीलैंड, क्राइस्टचर्च 1996/97
इससे पहले इंग्लैंड ने चौथे दिन की शुरुआत 3 विकेट पर 156 रन से आगे से की, लेकिन शनिवार के नाबाद बल्लेबाज कप्तान जो रूट सिर्फ 2 रन जोड़ कर 77 के स्कोर पर पविलियन लौट गए। ऑफ स्पिनर नाथन लियोन की गेंद पर स्लीप में खड़े डेविड वॉर्नर ने शानदार कैच लपककर 205 गेंद की उनकी पारी का अंत किया। इसके बाद स्टोक्स और बेयरस्टॉ ने 5वें विकेट के लिए 86 रन की पार्टनरशिप की। यह साझेदारी खतरनाक होती दिख रही थी कि तभी हेजलवुड ने बेयरस्टॉ को लाबुशेन के हाथों कैच आउट करा दिया। वह 68 गेंदों में 4 चौके की मदद से 36 रन बनाकर आउट हुए।
यूं गिरे विकेट और रोमांचक हुआ मैच
इसके बाद जोश बटलर और क्रिस वोक्स का विकेट जल्दी गिर जाने की वजह से इंग्लैंड एक बार फिर संकट में आ गई। बटली जहां रन आउट हुए तो वोक्स को हेलवुड ने वेड के हाथों कैच कराकर चलता किया। इन दोनों ने 1-1 रन का स्कोर किया। यहां से मैच रोमांचक दिखने लगा, क्योंकि एक ओर जहां विकेट गिरते जा रहे थे तो बेन स्टोक्स टिके रहे। जोफ्रा आर्चर (15) का सहारा मिला तो स्टोक्स इंग्लैंड को जीत के और करीब ले गए। हालांकि, आर्चर को लियोन ने पविलियन भेज दिया। इसके बाद स्टुअर्ट ब्रॉड (0) के बगैर खाता खोले आउट होने से इंग्लैंड फिर बैकफुट पर आ गई। लेकिन, पिक्चर अभी बाकी थी, क्योंकि दुनिया के सर्वश्रेष्ठ ऑलराउंडरों में गिने जाने वाले बेन स्टोक्स मैदान पर थे।
स्टोक्स का आक्रामक रुख
इंग्लैंड को पिछले महीने वनडे वर्ल्ड चैंपियन बनाने वाले स्टोक्स ने 9वां विकेट गिरने के बाद आक्रामक रुख अख्तियार कर लिया। वह जान चुके थे कि यहां से कुछ भी हो सकता है। अगर जीतना है तो अपने अंदाज में खेलना होगा। उन्होंने इसके बाद तो चौके-छक्के की झड़ी लगा दी। 199 गेंदों में उन्होंने चौके से शतक पूरा किया। इसके बाद एक ही ओवर में हेजलवुड को एक चौका और दो छक्के लगाते हुए मैच को रामांचक बना दिया।
रन आउट का मौका गंवाया
125वें ओवर में हालांकि ऑस्ट्रेलिया ने जैक लीच को रन आउट करने का मौका उस वक्त गंवा दिया, जब लियोन साथी खिलाड़ी का थ्रो सही से पकड़ नहीं सके। तब इंग्लैंड जीत से महज दो रन दूर था। इसके बाद अगले ही ओवर में चौथी गेंद पर स्टोक्स ने पैट कमिंस को चौका जड़ते हुए इंग्लैंड को जीत दिला दी। वह 219 गेंदों में 135 रन बनाकर नाबाद लौटे, जबकि उनके साथी जैक लीच ने 17 गेंदों का सामना किया और नाबाद एक रन बनाए।
चौथी बार हुआ ऐसा
इससे पहले हेडिंग्ले के मैदान पर सिर्फ तीन बार किसी टीम का चौथी पारी में 300 से ज्यादा रन का लक्ष्य हासिल करने का रेकॉर्ड था। ऑस्ट्रेलिया (1948 में तीन विकेट पर 404), इंग्लैंड (2001 में चार विकेट पर 315 रन) और वेस्ट इंडीज ने दो साल पहले पांच विकेट पर 322 रन बनाए थे।