नवंबर के बाद रुपया बेस्ट एशियन करंसी
मुंबई
इस साल कई महीनों तक कमजोर रही इंडियन करंसी नवंबर के बाद एशिया की बेस्ट परफॉर्मर करंसी बन गई है। रुपये को इंटरनैशनल मार्केट में क्रूड ऑइल के दाम में आई तेज गिरावट का फायदा मिला है। इन दोनों की वजह से देश को करंट अकाउंड डेफिसिट के मोर्चे पर बड़ी राहत मिली है।
ICICI बैंक के ग्लोबल मार्केट्स हेड बी प्रसन्ना ने कहा, 'ग्लोबल स्लोडाउन के बढ़ते रिस्क के बीच इंटरनैशनल मार्केट में क्रूड के दाम में तेज गिरावट आने के बाद हाल के हफ्तों में डॉलर के मुकाबले रुपये में फिर से मजबूती आई है।' ट्रेड डेफिसिट घटने और महंगाई दर कम रहने की उम्मीद पर इंडिया में विदेशी निवेशकों की एंट्री बढ़ सकती है। प्रसन्ना ने कहा कि ग्लोबल मार्केट में इक्विटीज को लेकर इनवेस्टर्स सेंटीमेंट में जैसे ही सुधार आना शुरू होगा, वैसे ही फंड फ्लो भी बन जाएगा।
31 अक्टूबर से अब तक डॉलर के मुकाबले रुपये में 5.4% की मजबूती आ चुकी है। इस तरह यह एशियन करंसी मार्केट में टॉप पर पहुंच गया है। इंडोनेशिया का रुपया 4.47% की मजबूती के साथ दूसरा बेस्ट परफॉर्मर रहा है। ग्लोबल ब्रेंट क्रूड का दाम पिछले ढाई महीनों में 39% तक टूट चुका है।
दाम में आई तेज गिरावट से क्रूड के सबसे बड़े इंपोर्टर्स में शामिल इंडिया को बड़ा फायदा होगा। इस बीच शुक्रवार को पांच दिनों में पहली बार डॉलर के मुकाबले रुपये में गिरावट आई थी, जिसकी वजह स्टॉक मार्केट में हुई बिकवाली थी। करंसी पर महीने के अंत में इंपोर्टर्स की तरफ से निकलनेवाली खरीदारी का भी दबाव बना था।
कोटक सिक्यॉरिटीज के ऐनालिस्ट अनिंद्य बनर्जी ने कहा, 'स्टॉक मार्केट में आई गिरावट का रुपये पर बड़ा दबाव बना, जबकि ऑइल कंपनियां महीने के अंत में होनेवाली पेमेंट कमिटमेंट के लिए डॉलर की खरीदारी करती दिखीं। लेकिन डॉलर के मुकाबले रुपये में आई यह गिरावट अस्थाई है क्योंकि नए साल में उसमें बड़ा-उतार चढ़ाव आने के आसार नहीं हैं।'
इस साल 11 अक्टूबर को रुपया 74.48 के ऑल टाइम हाइ पर पहुंच गया था। अगर पूरे साल को देखें तो रुपये का प्रदर्शन इमर्जिंग मार्केट्स की करंसी में सबसे कमजोर रहा है। NSP ट्रेजरी रिस्क मैनेजमेंट के डायरेक्टर परम शर्मा कहते हैं, 'इंडियन करंसी मार्केट में स्थितियां सामान्य रह सकती हैं। हमें नहीं लगता कि करंसी मार्केट में बड़ा उतार चढ़ाव होगा।'