मुख्यमंत्री ने कहा-कोरोना संक्रमितों के इलाज में कोताही बर्दाश्त नहीं

पटना
कोरोना संक्रमण की उच्च स्तरीय समीक्षा बैठक में मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने अधिकारियों से कहा कि कोरोना संक्रमितों के इलाज में किसी प्रकार की कोई कोताही न हो, इस पर विषेष ध्यान दें। समस्या को कैसे कम किया जा सकता है, इस पर सकारात्मक रवैये के साथ काम करें। मिसगाइड करने वाले कुछ नकारात्मक प्रवृति के लोग हैं, उन पर नजर रखें। कोरोना जांच की संख्या बढ़ाने के साथ-साथ टीकाकरण की गति बढ़ायें। 1 मई से 18 वर्ष से 44 वर्ष तक के लोगों का भी टीकाकरण कराया जायेगा। राज्य सरकार मुफ्त टीकाकरण करायेगी। टीकाकरण को लेकर पूरी तैयारी रखें। उन्होंने कहा कि बचे हुये पुलिसकर्मियों का टीकाकरण अवश्य करायें।
मुख्यमंत्री ने कहा कि गांव-गांव तक कोरोना संक्रमण के प्रति लोगों को सतर्क और सजग करने के लिए निरंतर अभियान चलायें। उन्हें अगल-बगल के गांव और मोहल्लों में कोरोना संक्रमितों की संख्या को बतायें। उसके फैलाव के बारे में लोगों को सचेत करें। लोगों को बताएं कि आप अगर सतर्क और सजग रहेंगे तो संक्रमण का खतरा कम से कम होगा। सभी को यह समझाने की जरूरत है कि वे मास्क का जरूर प्रयोग करें, आपस में दूरी बनाकर रहें, हमेशा साबुन से हाथ धोते रहें, बेवजह घर से बाहर न निकलें।
कोरोना का कहर रुकने का नाम नहीं ले रहा है। शनिवार को बिहार में 137 कोरोना मरीजों की मौत हो गयी। मरने वालों में 36 पटना में जबकि 101 लोगों की मौत बिहार के अन्य जिलों में हो गयी। पटना के चार बड़े अस्पतालों एनएमसीएच में 21, पटना एम्स में 6, पीएमसीएच में 7 और आईजीआईएमएस में दो लोगों की मौत कोरोना से हो गयी। जिलों के पांच मरीजों की मौत पटना में इलाज के दौरान हो गयी। हालांकि स्वास्थ्य विभाग ने 86 संक्रमितों की इलाज के दौरान मौत की पुष्टि की है।