संकट में डोनाल्ड ट्रंप का राजनीतिक करियर, चुनाव में घपले का आरोप
नई दिल्ली, अमेरिका के पूर्व राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप की मुश्किलें कम होने का नाम नहीं ले रहीं। सोमवार को जॉर्जिया के ग्रैंड जूरी ने उन पर चौथा आपराधिक आरोप लगाते हुए कहा कि ट्रंप ने 2020 के राष्ट्रपति चुनावों में डेमोक्रेट्स से मिली हार को पलटने का प्रयास किया था। जॉर्जिया के ग्रैंड जूरी ने ट्रंप पर आरोप लगाते हुए उनके खिलाफ अभियोग जारी किया है।
फुल्टन काउंटी के डिस्ट्रिक्ट अटॉर्नी फानी विलिस के लगाए गए इन आरोपों के बाद 2024 के राष्ट्रपति चुनाव के लिए रिपब्लिकन नामांकन की दौड़ में सबसे आगे चल रहे ट्रंप के सामने कानूनी दिक्कतें बढ़ गई हैं।
98 पन्नों के विशाल अभियोग में कुल 19 आरोपियों और 41 आपराधिक मामलों को सूचीबद्ध किया गया है। सभी आरोपियों पर रैकेटियरिंग का आरोप लगाया गया था। यह आरोप संगठित अपराध समूह के सदस्यों पर लगता है जिसमें 20 साल तक की जेल की सजा का प्रावधान है।
समाचार एजेंसी रॉयटर्स की एक रिपोर्ट के मुताबिक, आरोपियों में ट्रंप के पूर्व व्हाइट हाउस चीफ ऑफ स्टाफ मार्क मीडोज और वकील रूडी गिउलिआनी और जॉन ईस्टमैन शामिल हैं।
ट्रंप के खिलाफ जारी किए गए अभियोग में कहा गया, 'ट्रंप और इस अभियोग में आरोपी बनाए गए अन्य आरोपियों ने यह स्वीकार करने से इनकार कर दिया कि ट्रंप हार गए हैं। वो जानबूझकर चुनाव परिणाम को ट्रंप के पक्ष में गैरकानूनी रूप से बदलने की साजिश में शामिल हुए।'
कैसे शुरू हुआ यह मामला?
यह मामला 2 जनवरी, 2021 के फोन कॉल से उभरा है, जिसमें ट्रंप ने जॉर्जिया के शीर्ष चुनाव अधिकारी ब्रैड रैफेंसपर्गर से फोन पर आग्रह किया कि उन्हें राज्य में जो नुकसान हुआ है, उसे पलटने के लिए वो पर्याप्त वोट ढूंढें। हालांकि, रैफेंसपर्गर ने ऐसा करने से इनकार कर दिया था।
इसके चार दिन बाद ट्रंप के समर्थकों ने यूएस कैपिटल हिल पर धावा बोल दिया था ताकि वो सांसदों को कैपिटल हिल में प्रवेश करने से रोक सकें। सांसद जो बाइडेन की जीत को प्रमाणित करने के लिए कैपिटल हिल जा रहे थे।
ट्रंप के खिलाफ लाए गए अभियोग में ट्रंप और उनके सहयोगियों द्वारा कथित तौर पर किए गए कई अपराधों का हवाला दिया गया है। इन अपराधों में कुछ सांसदों का झूठी गवाही देना कि चुनाव में धोखाधड़ी हुई थी और राज्य के अधिकारियों से चुनाव परिणामों को बदलकर राष्ट्रपति पद के गरिमा का उल्लंघन करना शामिल है।
आरोपों में जॉर्जिया के ग्रामीण इलाके में मतदान प्रणाली का उल्लंघन और एक चुनावी कार्यकर्ता का उत्पीड़न करना भी शामिल है। इसमें निर्वाचकों की झूठी सूची देने और अमेरिकी चुनावी प्रक्रिया को नष्ट करने की एक कथित योजना का भी उल्लेख किया गया है।
ट्रंप पर दूसरे राज्यों के चुनाव परिणाम को बदलने की कोशिश के आरोप
अभियोग में ट्रंप पर जॉर्जिया ही नहीं बल्कि अन्य राज्यों के चुनाव परिणाम को बदलने के आरोप लगाए गए हैं। आरोप है कि गिउलिआनी और मीडोज सहित ट्रंप के सलाहकारों ने एरिजोना, पेंसिल्वेनिया और अन्य राज्यों में अधिकारियों को बुलाकर उन राज्यों में चुनाव परिणाम बदलने की कोशिश की।
ट्रंप ने इन सभी आरोपों से इनकार किया है और सत्ताधारी डेमोक्रेटिक पार्टी से संबंध रखने वाले जॉर्जिया के ग्रैंड जूरी पर आरोप लगाया है कि उनकी तरफ से जारी अभियोग राजनीति से प्रेरित है।
ट्रंप पर पहले से हैं तीन आपराधिक मामले
डोनाल्ड ट्रंप पर इससे पहले तीन आपराधिक मामले चल रहे हैं जिसमें वो दोषी न होने की दलील दे चुके हैं। उन पर आरोप है कि उन्होंने दो पोर्न स्टार को मुंह बंद रखने के लिए पैसा दिया है। दोनों ही महिलाओं ने आरोप लगाया है कि ट्रंप के साथ उनके शारीरिक संबंध थे और 2016 के राष्ट्रपति चुनावों से पहले उन्हें मुंह बंद रखने के पैसे दिए गए। इस मामले की सुनवाई न्यूयॉर्क में 25 मार्च 2024 से होनी है।
ट्रंप पर सीक्रेट डॉक्यूमेंट्स का भी एक मामला है जिसका मुकदमा 20 मई से फ्लोरिडा में शुरू होगा। दोनों ही मामलों में उन्होंने खुद को निर्दोष बताया है।
वहीं, वाशिंगटन संघीय अदालत ने तीसरे अभियोग में उन पर 2020 की चुनावी हार को अवैध रूप से पलटने की कोशिश करने का आरोप लगाया गया है। ट्रंप ने इस मामले में भी खुद को निर्दोष बताया है। इस मुकदमे की तारीख अभी तय नहीं है।
जॉर्जिया कभी रिपब्लिकन पार्टी का गढ़ हुआ करता था लेकिन हाल के वर्षों में यह उन कुछेक राज्यों में से एक बनकर उभरा है जो अमेरिकी राष्ट्रपति चुनाव के नतीजे तय करते हैं।
ट्रम्प लगातार झूठा दावा कर रहे हैं कि उन्होंने नवंबर 2020 का राष्ट्रपति चुनाव जीता है, हालांकि दर्जनों अदालती मामलों और राज्य की तरफ से किए गए जांच में इस बात के कोई सबूत नहीं मिले हैं कि उनका दावा सही है।