डॉक्टरों के सामने झुकी ममता सरकार, हर अस्पताल में तैनात होगा पुलिस का एक अधिकारी

कोलकाता
पश्चिम बंगाल में हिंसा के विरोध में हड़ताल पर गए चिकित्सकों और राज्य सरकार के बीच गतिरोध खत्म होने के आसार नजर आ रहे हैं। प्रदेश में चिकित्सकों और सीएम ममता बनर्जी के बीच हुई बातचीत के बाद मुख्यमंत्री ने कोलकाता के पुलिस कमिश्नर अनुज शर्मा को हर अस्पताल में एक नोडल पुलिस ऑफिसर की तैनाती के निर्देश दिए हैं। इसके अलावा चिकित्सकों की मांग पर हर सरकारी अस्पताल में एक शिकायत निवारण सेल बनाने का निर्णय भी लिया गया है। सीएम के साथ हुई इस बैठक में पश्चिम बंगाल के हर मेडिकल कॉलेज से दो प्रतिनिधि शामिल हुए हैं।
सोमवार को कोलकाता में राज्य सचिवालय से सटे एक सभागार में ममता बनर्जी और चिकित्सकों के बीच तमाम गतिरोधों के बाद हुई बैठक में कई बड़े फैसले हुए हैं। माना जा रहा है कि चिकित्सकों की तमाम मांगों पर राज्य सरकार राजी हो गई है। इससे पहले रविवार को पश्चिम बंगाल में राज्य सरकार के खिलाफ पिछले 6 दिनों से हड़ताल कर रहे डॉक्टरों ने वार्ता पर सहमति जताई थी। ममता की ओर से सुरक्षा के आश्वासन के बाद पश्चिम बंगाल के हड़ताली डॉक्टरों के रुख में नरमी आई है। रविवार को आंदोलन कर रहे डॉक्टरों ने कहा था कि वे प्रदर्शन खत्म करने के लिए मुख्यमंत्री ममता बनर्जी से बातचीत को तैयार हैं, लेकिन मुलाकात की जगह वे बाद में तय करेंगे।
ममता ने दी थी लाइव कवरेज की अनुमति
बाद में ममता बनर्जी सरकार ने मीडिया को भी राज्य में होने वाली इस बैठक की लाइव कवरेज की अनुमति दी थी। बंगाल में राज्य सचिवालय के बगल में स्थित एक सभागार में इस बैठक का कार्यक्रम निर्धारित किया गया था। पूर्व में डॉक्टरों ने ममता बनर्जी से बातचीत पर सहमति जताई थी, लेकिन उनका कहना था कि यह बात बंद कमरे में नहीं बल्कि मीडिया कैमरों के सामने होगी।
कई राज्यों में स्वास्थ्य सेवाएं प्रभावित
बता दें कि पश्चिम बंगाल की राजधानी कोलकाता में पिछले दिनों दो जूनियर डॉक्टरों की पिटाई के बाद शुरू हुई डॉक्टरों की हड़ताल ने अब देशव्यापी रूप अख्तियार कर लिया है। सोमवार को देश के 5 लाख डॉक्टर हड़ताल में शामिल हो गए, जिससे दिल्ली-एनसीआर, पश्चिम बंगाल समेत कई राज्यों में स्वास्थ्य सेवाओं पर बहुत बुरा असर पड़ा है। डॉक्टरों की हड़ताल में दिल्ली मेडिकल असोसिएशन से जुड़े 18,000 डॉक्टर और एम्स भी शामिल हो गया है। हड़ताल के कारण दिल्ली के सफदरजंग, राम मनोहर लोहिया जैसे बड़े अस्पतालों में ओपीडी सेवाएं प्रभावित हैं। इन अस्पतालों में नए मरीजों का इलाज नहीं हो पा रहा है।