आज बिहार की जनता देगी फैसला, नीतीश लगाएंगे जीत 'चौका' या तेजस्वी को मिलेगी सत्ता की कमान

आज बिहार की जनता देगी फैसला, नीतीश लगाएंगे जीत 'चौका' या तेजस्वी को मिलेगी सत्ता की कमान

नई दिल्ली
बिहार की जनता के मन में क्या है- 'नीतीशे कुमार' या 'तेजस्वी भव:'। मंगलवार को पर्दा उठेगा। बिहार की 243 सीटों पर तीन चरणों में हुए वोटों की गिनती होगी। ज्यादातर एग्जिट पोल में राष्ट्रीय जनता दल के नेता तेजस्वी यादव की अगुआई में महागठबंधन सरकार को बहुमत मिलने का अनुमान लगाया गया है। वहीं, सीएम नीतीश कुमार के नेतृत्व वाला एनडीए खेमा भी दावा कर रहा है कि साइलेंट और महिला वोटर इस बार भी चौंकाएंगे और सारे अनुमान गलत साबित होंगे। चुनाव आयोग ने राज्य की 243 विधानसभा सीटों की मतगणना के लिए बिहार के 38 जिलों में 55 काउंटिंग सेंटर बनाए हैं। बिहार राज्य निर्वाचन आयोग के मुताबिक पूर्वी चंपारण, सीवान, बेगूसराय और गया में तीन-तीन नालंदा, बांका, पूर्णिया, भागलपुर, दरभंगा, गोपालगंज, सहरसा में दो-दो मतगणना केंद्र बनाए गए हैं. 55 मतगणना केंद्रों में 414 हॉल बनाए गए हैं। मतगणना केंद्रों पर सबसे पहले डाक मतपत्रों की गिनती की जाएगी। चुनाव आयोग ने बिहार में डाक मतपत्र की गिनती को लेकर अतिरिक्त सहायक निर्वाची अधिकारी की तैनाती की है। काउंटिंग के दौरान सबसे पहले डाक मतपत्रों की ही गिनती होगी।

निर्वाचन विभाग में राज्य स्तर पर होगी मतगणना की निगरानी
निर्वाचन विभाग सह मुख्य निर्वाचन पदाधिकारी, बिहार के कार्यालय में राज्य के सभी मतगणना केंद्रों में जारी मतगणना की निगरानी की जाएगी। इसके लिए सभी अधिकारियों व कर्मियों को मुख्यालय स्तर पर तैनात रहने का निर्देश दिया गया है। मतगणना की जानकारी सीधे चुनाव आयोग को भेजी जाएगी।

नीतीश कुमार ने नहीं लड़ा है चुनाव
बहरहाल, नीतीश कुमार बिहार विधान परिषद के सदस्य हैं और उन्होंने चुनाव नहीं लड़ा है। राघोपुर सीट पर पूर्व में लालू प्रसाद और राबड़ी देवी प्रतिनिधित्व कर चुकी हैं। तेजस्वी के बड़े भाई तेज प्रताप यादव ने समस्तीपुर जिले के हसनपुर सीट से चुनाव ल़ड़ा है।

दो महीने चली प्रक्रिया का आएगा परिणाम
बिहार में नई सरकार के गठन के लिए विधानसभा के हुए चुनाव कई मायनों में अलग हैं। कोरोना के खतरों के बीच बिहार के मतदाताओं ने करीब दो महीने से सघन प्रचार, जनसभाओं का कीर्तिमान, हेलीकॉप्टरों की गर्जना, स्टार प्रचारकों की धूम, राजनीतिक दलों के वादे-दावे, आरोप-प्रत्यारोप सब देखे। एक्जिट पोल के हिसाब से कई तरह की चर्चाएं भी सुनीं। मगर मंगलवार को सब हाशिये पर चले जाएंगे, आगे रहेगा बिहार और सात करोड़ 35 लाख से ज्यादा मतदाताओं के सपनों की सरकार। दो महीने की लंबी चुनावी प्रक्रिया और मंथन के बाद मतदाताओं ने जो फैसला सुनाया है, अब उसकी अभिव्यक्ति की बारी है।

एक्जिट पोल कर रहा सत्ता परिवर्तन की ओर इशारा
बिहार विधानसभा चुनाव 2020 के लिए तीसरे और आखिरी चरण का मतदान खत्‍म होते ही एग्जिट पोल ने बड़े परिवर्तन की ओर इशारा किया है। तमाम सर्वे में एनडीए की सीटें महागठबंधन से कम ही हैं। अधिकतर सर्वे में महागठबंधन इस बार सरकार में आता दिख रहा है। एनडीए को केवल एबीपी-सी वोटर बहुमत में आते दिखा रहा है। इधर, एक्जिट पोल देख बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने जहां चुप्पी साध ली है तो तेजस्वी यादव ने कार्यकर्ताओं से धैर्य बनाने के लिए कहा है।

कोविड गाइड लाइन का किया जाएगा पालन
मतगणना केंद्रों में 414 हॉल में टेबल लगाए गए हैं। कोविड गाइडलाइन का पालन करते हुए टेबलों के बीच दूरी बनाए रखने का निर्देश दिया गया है। तीन चरणों में हुए मतदान के बाद राज्य भर के 3733 प्रत्याशियों की किस्मत ईवीएम में बंद है। इनमें से 370 महिला और एक ट्रांसजेंडर हैं।