मां बनने के लिए खाएं फोलिक एसिड, कोख में शिशु को नहीं होगी जन्मजात बीमारियां
फॉलिक एसिड गर्भधारण करने के लिए जरुरी तत्वों में से एक होता है। जो गर्भावस्था में महिला और उसके कोख में पल रहे शिशु के विकास के लिए आवश्यक तत्वों में से एक होता है। फोलिक एसिड, विटामिन बी समूह का एक प्रकार है जिसे 'बी 9' भी कहा जाता है। ये फोलेट का एक संश्लेषित प्रकार होता है।
फोलिक एसिड बच्चों के लिए काफी उपयोगी होता है क्योंकि गर्भ में शिशु के विकास के लिए बहुत जरुरी होता है।' फॉलिक एसिड के नियमित सेवन की वजह से गर्भस्थ शिशु में होने वाले जन्मजात विकार की समस्या कम हो जाती है और मां को भी एनिमिया की समस्या नहीं रहती है। आइए जानते है कि गर्भावस्था में फोलिक एसिड और फोलेट का सेवन क्यों लाभकारी होता है।
गर्भधारण में करता है मदद
अगर आप प्रेगनेंसी की प्लानिंग कर रही हैं तो आपको अपनी डाइट में फोलिक एसिड को शामिल करने की जरुरत है। यह गर्भधारण में मदद करने के अलावा प्रजनन प्रणाली में अंडों के प्रोडक्शन को बढ़ाकर जल्द गर्भ धारण करने में मददगार साबित होता है।
खून की कमी नहीं होती
सामान्य मात्रा में फोलिक एसिड का सेवन करने से गर्भवती महिलाओं को एनीमिया होने का खतरा नहीं रहता है। इससे लाल रक्त कोशिकाएं तेजी से बनती हैं जिससे शरीर में खून की कमी नहीं होती है।
गर्भपात का खतरा नहीं
कई रिसर्च में ये बात सामने आ चुकी है कि गर्भावस्था के शुरुआती दिनों में या प्रेगनेंसी प्लान करते समय फोलिक एसिड के सेवन से मां और बच्चें के लिए खूब फायदेमंद होता है। इसके अलावा ये गर्भावस्था के दौरान गर्भपात के खतरे को बहुत कम कर देता है। शोध में ये बात भी सामने आई है कि फोलिक एसिड डेफिशिएंसी के वजह से कई महिलाओं को गर्भधारण करने में दिक्कत आती है और इसके अलावा गर्भपात होने का खतरा भी रहता है।
करता है भ्रूण का विकास
फोलिक एसिड बच्चे को प्राकृतिक रुप से विकसित करने में मदद करता है। यह न्यूरल ट्यूब की रक्षा करता है जिससे बच्चे में दिमाग और स्पाइनल कॉर्ड विकसित होती है।
शिशु को जन्मजात बीमारियों से रखता है दूर
फोलेट और फोलिक एसिड स्पाइना बिफिडा जैसी बीमारियों से रक्षा करने में मदद करता है। स्पाइना बिफिडा बीमारी के कारण बच्चों में स्पाइनल कॉर्ड का विकास नहीं हो पाता है। इसलिए ब्रोकली, मीट, संतरा आदि खाना फायदेमंद रहता है।
अल्जाइमर और दिल की बीमारियों से रखता है दूर
मां बनने वाली महिलाओं के लिए फोलिक एसिड का सेवन लाभकारी होता है। बच्चे के विकास के अलावा फोलिक एसिड माता को सुरक्षित रहने में मदद करता है और स्ट्रोक, अल्जाइमर और दिल की बीमारियों से रक्षा करता है।
इन्हें शामिल करें अपने डाइट में
फोलिक एसिड के प्रमुख प्राकृति स्रोतों में हरी पत्तेदार सब्जियां, फलियां, बीज, अंडा, अनाज और खट्टे फल शामिल है। हरी पत्तेदार सब्जियों में पालक, शलजम का साग, अजमोद और शतावरी शामिल है। दाल, बींस और फलियां में पिंटो सेम, काले सेम, राजमा और किडनी बींस शामिल है। इसके अलावा फूलगोभी, ब्रोकली, पपीता और स्ट्रॉबेरी भी फोलिक एसिड का सोर्स हैं। नट्स, और मीट में भी फोलिक एसिड युक्त खाद्य पदार्थों का सेवन शरीर के लिए लाभकारी होता है।
कितनी मात्रा में फोलिक एसिड का सेवन जरुरी होता है
आइए जानते है कितनी फोलिक एसिड की कितनी खुराक जरुरी होती है।
- 400 माइक्रो ग्राम गर्भधारण के शुरुआती 12 सप्ताह में
- 400 माइक्रो ग्राम गर्भावस्था के स्टेज के दौरान-
600 माइक्रो ग्राम फोलिक एसिड का सेवन उपयोगी होता है, इसके अलावा फोलिक एसिड की बेहतर मात्रा के लिए अपने डॉक्टर से जरुर सलाह लें।